12 November, 2012

क्या निवेदन करूँ ??आदरणीय प्रतुल जी !!



भारतीय संस्कृति इतनी समृद्ध है कि आप यदि हर त्योहार के नाम का एक-एक मनका भी माला में पिरो लें तो भी कम-से-कम दो-तीन मालाएँ जाप के लिए हमारे आपके हाथ में होंगीं।
रविकर जी, मैंने आपकी और अरुण जी जैसी आशु कविताई की वर्तमान में कभी कल्पना भी नहीं की। आप और अरुण जी वर्तमान साहित्य जगत के सिरमौर हैं। कभी मन में एक कसक थी कि वर्तमान में सूर-तुलसी-केशव जैसे कवि क्यों नहीं होते। मन में ये सुकून है कि अब उसकी भरपायी हो गयी है। अरुण निगम जी और आप जिस निष्ठा से साहित्य की सेवा में लगे हैं वह अद्भुत है, सराहनीय है, वन्दनीय है।
आप जैसे आदरणीय कविश्रेष्ठ बंधुओं से आशीर्वाद मिले तो जबरन कोशिश से बने कवियों पर माँ शारदा की कृपा होवे। दीपावली की अनंत शुभकामनाओं के साथ-------
तुलसी हैं शशि सूर रवि, केशव खुद खद्योत ।

रविकर थोथे चने सम, पौध उगी बिन जोत ।

पौध उगी बिन जोत, घना लगता है बजने ।

अजब झाड़-झंखाड़, भाव बिन लगे उपजने ।

उर्वर पद-रज पाय, खाय मन रविकर हुलसी ।

है रविकर एकांश,

शंखपति कविवर तुलसी ।।
शंख=10 000 000 000 000
शंख के स्वर और 
थोथे चने के स्वर में जमीं-आस्मां का अंतर है-

उर्वर पद-रज=चरणों की धूल रूपी  उर्वरक  
बिन जोत=बिना जुताई किये / बिना ज्योति के 



लाल अशर्फी होती काली, कौड़ी कौड़ी हुई दिवाली


Deepvali1126

बीत गया भीगा चौमासा । उर्वर धरती बढती आशा ।

त्योहारों का मौसम आये।  सेठ अशर्फी लाल भुलाए ।

विघ्नविनाशक गणपति देवा। लडुवन का कर रहे कलेवा
माँ दुर्गे नवरात्रि आये । धूम धाम से देश मनाये ।
विजया बीती करवा आया । पत्नी भूखी गिफ्ट थमाया ।
जमा जुआड़ी चौसर ताशा । फेंके पाशा बदली भाषा ।।

एकादशी रमा की आई ।  वीणा बाग़-द्वादशी गाई ।
धनतेरस को धातु खरीदें । नई नई जागी उम्मीदें ।
धन्वन्तरि की जय जय बोले ।  तन मन बुद्धि निरोगी होले ।
काली पूजा बंगाली की । लक्ष्मी पूजा दीवाली की ।।

झालर दीपक बल्ब लगाते । फोड़ें बम फुलझड़ी चलाते ।
खाते कुल पकवान खिलाते । एक साथ सब मिलें मनाते ।
लाल अशर्फी फड़ पर बैठी | रहती लेकिन किस्मत ऐंठी ।
 फिर आया जमघंट बीतता | बर्बादी ही जुआ जीतता ।।

लाल अशर्फी होती काली | कौड़ी कौड़ी हुई दिवाली ।
 भ्रात द्वितीया बहना करती | सकल बलाएँ पीड़ा हरती ।
चित्रगुप्त की पूजा देखा । प्रस्तुत हो घाटे का लेखा ।
सूर्य देवता की अब बारी।  छठ पूजा की हो तैयारी ।।

 


Ganesh

 शुभकामनायें 

दीपावली 2012

Lakshmi
 

3 comments:

  1. ----- ।। शुभ-दीपावली ।। -----

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  2. आपको भी सपरिवार दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं!

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  3. दीवाली का पर्व ज्योति दे,जीवन में उजियार भरे !
    कभी अँधेरा असमय आकार, मत खुशियों पर वार करे !!

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